शब्द का अर्थ
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भुजरी :
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स्त्री० [?] १. गेहूँ की वे बालें जो स्त्रियाँ धार्मिक अवसरों (जैसे—नागपंचमी, हरतालिका तीज) पर टोकरियों में रखकर उगाती और नियत समय पर किसी जलाशय या नदीं में प्रवाहित करती हैं। जरई। २. उक्त दो प्रवाह के लिए ले जाने के समय गाये जानेवाले विशिष्ट प्रकार के गीत। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
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